تسالونيكي الأولى 1 – NAV & HCV

New Arabic Version

تسالونيكي الأولى 1:1-10

تحية

1مِنْ بُولُسَ وَسِلْوَانُسَ وَتِيمُوثَاوُسَ، إِلَى كَنِيسَةِ مُؤْمِنِي تَسَالُونِيكِي الَّذِينَ هُمْ فِي اللهِ الآبِ وَالرَّبِّ يَسُوعَ الْمَسِيحِ. لِتَكُنْ لَكُمُ النِّعْمَةُ وَالسَّلامُ مِنَ اللهِ أَبِينَا وَالرَّبِّ يَسُوعَ الْمَسِيحِ.

شكر لأجل إيمان المؤمنين في تسالونيكي

2إِنَّنَا نَشْكُرُ اللهَ دَائِماً مِنْ أَجْلِكُمْ جَمِيعاً، إِذْ نَذْكُرُكُمْ فِي صَلَوَاتِنَا دُونَ تَوَقُّفٍ؛ 3مُتَذَكِّرِينَ، أَمَامَ إِلَهِنَا وَأَبِينَا، مَا لَكُمْ مِنْ عَمَلِ الإِيمَانِ وَاجْتِهَادِ الْمَحَبَّةِ وَثَبَاتِ الرَّجَاءِ، فِي رَبِّنَا يَسُوعَ الْمَسِيحِ؛ 4وَنَحْنُ عَالِمُونَ، أَيُّهَا الإِخْوَةُ أَحِبَّاءَ اللهِ، حَقِيقَةَ اخْتِيَارِكُمْ مِنْ قِبَلِ اللهِ: 5لأَنَّ تَبْشِيرَنَا لَكُمْ بِالإِنْجِيلِ لَمْ يَكُنْ مُجَرَّدَ كَلامٍ، بَلْ كَانَ مَصْحُوباً أَيْضاً بِالْقُوَّةِ وَبِالرُّوحِ الْقُدُسِ وَبِتَمَامِ الْيَقِينِ. كَمَا أَنَّكُمْ تَعْلَمُونَ تَمَاماً مَاذَا كُنَّا بَيْنَكُمْ لأَجْلِ مَصْلَحَتِكُمْ، 6وَقَدْ صِرْتُمْ مُقْتَدِينَ بِنَا وَبِالرَّبِّ، إِذْ تَقَبَّلْتُمْ كَلِمَةَ اللهِ فِي وَسَطِ ضِيقَةٍ شَدِيدَةٍ بِفَرَحِ الرُّوحِ الْقُدُسِ. 7حَتَّى إِنَّكُمْ صِرْتُمْ مِثَالاً لِجَمِيعِ الْمُؤْمِنِينَ الْمُقِيمِينَ فِي مُقَاطَعَتَيْ مَقِدُونِيَّةَ وَأَخَائِيَةَ. 8فَمِنْ عِنْدِكُمْ دَوَّتْ كَلِمَةُ الرَّبِّ، مُنْتَشِرَةً لَا فِي مَقِدُونِيَّةَ وَأَخَائِيَةَ فَقَطْ، بَلْ إِنَّ إِيمَانَكُمْ بِاللهِ ذَاعَ فِي كُلِّ مَكَانٍ، حَتَّى لَيْسَ لَنَا حَاجَةٌ لأَنْ نَقُولَ شَيْئاً بَعْدُ. 9فَإِنَّ أُولئِكَ الْمُؤْمِنِينَ أَنْفُسَهُمْ يُخْبِرُونَ عَنَّا كَيْفَ كَانَ قُدُومُنَا إِلَيْكُمْ أَوَّلَ مَرَّةٍ، وَكَيْفَ تَحَوَّلْتُمْ إِلَى اللهِ عَنِ الأَصْنَامِ، لِتَصِيرُوا عَبِيداً يَخْدِمُونَ اللهَ الْحَيَّ الْحَقَّ، 10وَتَنْتَظِرُوا مِنَ السَّمَاوَاتِ ابْنَهُ الَّذِي أَقَامَهُ مِنْ بَيْنِ الأَمْوَاتِ، يَسُوعَ مُخَلِّصَنَا مِنَ الْغَضَبِ الآتِي.

Hindi Contemporary Version

1 थेस्सलोनि 1:1-10

1पिता परमेश्वर तथा प्रभु येशु मसीह में थेस्सलोनिकेयुस नगर की कलीसिया को यह पत्र पौलॉस,

सिलवानॉस तथा तिमोथियॉस की ओर से है.

तुम्हें अनुग्रह तथा शांति मिलती रहे.

आभार व्यक्ति तथा प्रशंसा

2अपनी प्रार्थनाओं में तुम्हारा वर्णन करते हुए हम हमेशा तुम सभी के लिए परमेश्वर का आभार मानते हैं. 3हम हमेशा ही परमेश्वर, हमारे पिता के सामने तुम्हारे विश्वास के काम, प्रेम का परिश्रम तथा हमारे प्रभु येशु मसीह में तुम्हारी दृढ़ आशा को याद करते हैं.

4क्योंकि, प्रिय भाई बहनो, परमेश्वर के प्रियो, हमें अहसास है कि तुम परमेश्वर के चुने हुए हो, 5हमारे द्वारा प्रस्तुत ईश्वरीय सुसमाचार तुम्हें सिर्फ शब्दों में नहीं परंतु सामर्थ्य, पवित्र आत्मा तथा पूरे धीरज के साथ पहुंचाया गया था. तुम्हारे बीच निवास करते हुए तुम्हारी ही भलाई के लिए हम किस प्रकार के व्यक्ति साबित हुए थे, यह तुमने स्वयं ही देख लिया है. 6प्रभु के संदेश को घोर क्लेश में, पवित्र आत्मा के आनंद में स्वीकार करते हुए तुम स्वयं हमारे तथा प्रभु के शिष्य बन गए थे. 7जिसका परिणाम यह हुआ कि तुम मकेदोनिया तथा आखाया प्रदेश में सभी विश्वासियों के लिए एक आदर्श बन गए. 8तुम्हारे द्वारा भेजा गया प्रभु का संदेश न केवल मकेदोनिया तथा आखाया प्रदेश में सुनाया गया और बढ़ता गया परंतु परमेश्वर में तुम्हारा विश्वास भी सबको मालूम हो गया है. परिणामस्वरूप कोई ज़रूरत नहीं रह गई कि इस विषय में अब हम कुछ कहें, 9वे ही हर जगह इस बात का वर्णन कर रहे हैं कि तुम्हारे द्वारा किया गया हमारा स्वागत कैसा भव्य था तथा यह भी कि किस प्रकार तुम मूर्तियों से दूर होकर परमेश्वर की ओर झुक गए कि जीवित और सच्चे परमेश्वर की सेवा करने लगो 10और स्वर्ग से उनके पुत्र मसीह येशु के दोबारा आगमन की प्रतीक्षा करो, जिन्हें परमेश्वर ही ने मरे हुओं में से जीवित किया, मसीह येशु, जो हमें आनेवाले क्रोध से बचाते हैं.